
अस्पतालों ने भी वसूले मनमानी चार्ज
संभल। ऐसा ही एक मामला सजल कुमार पुत्र राकेश कुमार निवासी चंदौसी का आया जो की पहली दफा आई कोविड-19 बीमारी की लहर में कोविड-19 बीमारी से ग्रस्त हो गए थे और अपने इलाज के लिए उन्होंने बीमा हेल्थ पॉलिसी स्टार हेल्थ कंपनी से ले रखी थी इसी पॉलिसी के आधार पर वह कोरोना की कोई भी दवाई ना आने के कारण भी यथार्थ सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल नोएडा में 13 सितंबर 2020 से 24 सितंबर 2020 तक ईलाज के लिये भर्ती रहे। कोविड -19 से ग्रस्त होने का इलाज कराया । जहां डॉक्टरों द्वारा कोरना की बीमारी से कोई भी दवा ना होने के बावजूद भी उनका इलाज किया

गया और उनसे ₹387500 इलाज के खर्च में वसूल पाए जिसकी क्लेम के लिए सजल कुमार ने स्टार हेल्थ बीमा पॉलिसी से अपने इलाज में खर्च हुए बीमा धनराशि मांगी तो स्टार हेल्थ पॉलिसी द्वारा मात्र ₹142000 का ही भुगतान किया गया बार-बार कंपनी से शेष धनराशि दिलाने का आग्रह करने के बावजूद भी सजल कुमार की कोई बात नहीं सुनी तो उन्होंने एक परिवाद अपने अधिवक्ता लव मोहन वार्ष्णेय के माध्यम से जिला उपभोक्ता आयोग जनपद संभल में दायर किया जहां आयोग द्वारा यथार्थ हॉस्पिटल व स्टर हेल्थ कंपनी को नोटिस जारी अपना पक्ष रखने के लिए कहा जिस पर स्टार हेल्थ की ओर से यह कहा गया कि हमारे यहां भिन्न-भिन्न मदों में एक निश्चित किये रुपए ही दिए जा सकते हैं और उस आधार पर हमने ₹142000 सही क्लेम का भुगतान किया है आयोग के अध्यक्ष राम अचल यादव व सदस्य आशुतोष ने वादी के अधिवक्ता लव मोहन वार्ष्णेय व विपक्षी की बहस सुनी और इस निष्कर्ष पर पहुंचे कि कोविड-19 बीमारी मैं उस समय कोई भी दवा ना होने के बावजूद भी यतार्थ हॉस्पिटल द्वारा ₹387500 इलाज खर्च सजल कुमार से बसूले जबकि बीमा पॉलसी केसलेश थी तथा बीमा कंपनी द्वारा ₹142000 का ही भुगतान किया गया है 245500 अदा नहीं किए गए दोनों पक्षों को सुनने के बाद आयोग ने अपना निर्णय सुनाते हुए बीमा कंपनी को आदेश की दिया की स्टार हेल्थ एंड एलाइड इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड परिवादी को ₹245500 परिवादी को परिवाद प्रस्तुत करने की दिनांक से वास्तविक अदायगी तिथि तक 9% वार्षिक ब्याज सहित तथा वाद व्यय में ₹10000 दो माह के अंदर अदा करे।



